दो नेपाली चरस तस्करों को 15-15 साल की जेल

चंपावत की विशेष सत्र न्यायालय का फैसला
15-15 साल के कठोर कारावास के अलावा डेढ़-डेढ़ लाख रुपये का जुर्माना भी लगा
जनवरी 2024 में बनबसा शारदा बैराज क्षेत्र से दबोची गई भी साढ़े किलो से अधिक चरस
देवभूमि टुडे
चंपावत। विशेष सत्र न्यायालय ने चरस तस्करी के दो आरोपियों को दोषी पाते हुए सजा सुनाई है। दोनों आरोपियों को 15 15 साल के कठोर कारावास की सजा के अलावा डेढ़-डेढ़ लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। अर्थदंड नहीं चुकाने पर एक-एक साल का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा।
जनवरी 2024 में बनबसा शारदा बैराज क्षेत्र में पुलिस और SSB की संयुक्त टीम की पैदल गश्त के दौरान दो लोगों की तलाशी में चरस दबोची गई थी। पूरन बूढ़ा (28) के कब्जे से 3.465 किग्रा और रविंद्र बूढ़ा (29) के पास से 3.100 किग्रा अवैध चरस बरामद हुई थी। दोनों आरोपी नेपाल के बजांग, कंचनपुर, शुक्लाफांटा, थाना चैनपुर (नेपाल) के रहने वाले हैं। दोनों आरोपियों के खिलाफ NDPS एक्ट में मामला दर्ज किया गया था।
आरोप पत्र पेश किए जाने के बाद अदालत में मामले की सुनवाई शुरू हुई। तमाम गवाह, साक्ष्य और दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद विशेष सत्र न्यायाधीश अनुज कुमार संगल ने आरोपियों को दोषी पाया। दोनों को 15-15 साल के कठोर कारावास और डेढ़ डेढ़ लाख रुपये के जुर्माने से दंडित किया गया। जुर्माना नहीं चुकाने पर एक-एक साल का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा।

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