आस्था की बगवाल में विवाद का बवाल…1 लाख लोग बने बगवाल के साक्षी

खोलीखांड दुबचौड़ा मैदान में 11 मिनट तक हुई बगवाल, फल फूल की जमकर हुई बारिश, 205 बगवाली वीर और 20 दर्शक जख्मी हुए, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी लगातार तीसरी बार बने बगवाल के साक्षी

देवभूमि टुडे
चंपावत/देवीधुरा। मौसम के उतार-चढ़ाव के बीच देवीधुरा के खोलीखांड दुबाचौड़ा मैदान में
आषाढ़ी कौतिकी (रक्षाबंधन) के दिन 19 अगस्त को फल-फूलों से बगवाल खेली गई। लोहाघाट के विधायक खुशाल सिंह अधिकारी की अध्यक्षता में हुए कार्यक्रम में मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि देश-दुनिया में लोकप्रिय आस्था की बगवाल से न केवल देवीधुरा और चंपावत बल्कि उत्तराखंड को नई पहचान मिल रही है। बगवाल मेला लोक संस्कृति, आस्था और परंपराओं का संगम है। पुरातन परंपराओं को निभाने और आगे बढ़ाने की ऊर्जा आने वाली पीढ़ी को मिलते रहनी चाहिए। मुख्यमंत्री ने मां वाराही मंदिर में घंटी चढ़ाई और प्रदेश की खुशहाली एवं तरक्की की कामना की। 1 लाख से अधिक लोगों की मौजूदगी में चारों खाम और सातों थोक के योद्धाओं ने फल फूलों से 11 मिनट से अधिक देर तक रोमांचित करने वाली बगवाल खेली। बगवाल खेलने के लिए मैदान में पहुंचने से पूर्व बगवाल शुरू करने को लेकर कुछ देर विवाद भी हुआ। गहरवाल खाम के योद्धाओं ने इसे लेकर एतराज जताया और विरोध में काफी लोग मंच स्थल पर पहुंच गए। बाद में खामों के प्रतिनिधियों के समझाने पर विवाद शांत हुआ। तय हुआ कि भविष्य में बगवाल खेलने के दौरान कोई राजनीतिक कार्यक्रम नहीं होगा। गहरवाल खाम के प्रतिनिधि दीपक बिष्ट ने बताया कि बगवाल खेलने के दौरान सियासी कार्यक्रम नहीं होगा। साथ ही ध्वनि विस्तारक यंत्र की व्यवस्था को और बेहतर बनाया जाएगा।
सुबह बारिश और धुंध के बाद करीब 1 बजे मौसम में सुधार हुआ। अपरान्ह 2.05 बजे शंख ध्वनि के साथ शुरू हुई बगवाल 2.16 बजे तक चली। इस बार बगवाल 2023 की अपेक्षा 3 मिनट ज्यादा खेली गई।
बगवाल में 105 बगवाली वीरों के अलावा 20 लोग चोटिल हुए। मैदान में प्रवेश करने से पूर्व सभी चारों खामों और सात थोक (गहड़वाल, चम्याल, लमगडिय़ा, वालिग, गोरना, कटना और फुलाराकोट) के योद्धाओं ने मां वज्र वाराही का जयकारा किया। सफेद साफा पहने वालिग खाम, गुलाबी साफ धारण कर चम्याल खाम और पीला साफा पहन लमगडिय़ा खाम के योद्धाओं ने प्रवेश किया। मां के जयकारे के साथ योद्धाओं ने व्रज बाराही के मंदिर की परिक्रमा करने के बाद चारों खामों के योद्धा अपने-अपने मोर्चे में डट गए। केसरिया साफा पहने गहड़वाल खाम का कहना है कि उनकी परिक्रमा पूरी होने से पूर्व ही बगवाल शुरू हो गई।
संकेत मिलते ही खामों के योद्धाओं ने फल-फूल बरसाना शुरू कर दिया। कर बगवाल का श्रीगणेश किया। जबकि दूसरी तरफ से चम्याल और गहड़वाल खाम के योद्धा थे। 11 मिनट तक नाशपाती, संतरे, सेब और फूलों से बगवाल हुई। मंदिर के पीत वस्त्रधारी महेश पुजारी ने अपरान्ह 2.16 बजे चंवर झूलाकर बगवाल समाप्त होने का संकेत किया। बगवाल पर विराम लगने के बाद खामों के योद्धाओं ने गले मिल कुशलक्षेम पूछी। सकुशल वापसी के लिए सभी वीरों ने देवी मां के सम्मुख शीश नवाया। सीएमओ देवेश चौहान ने बताया कि 20 दर्शक और 105 से अधिक बगवाली वीर चोटिल हुए। घायलों का डॉक्टरों की टीम ने स्वास्थ्य शिविर में इलाज किया। बगवाल देखने को मैदान ही नहीं, दर्शक दीर्घा और आसपास के मकानों की छतों में भी खचाखच भरी थी। बगवाल का आंखों देखा हाल पीठाचार्य कीर्ति बल्लभ जोशी ने सुनाया। बगवाल शुरू होने से पूर्व मां बाराही देवी की पूजा अर्चना की। पूजन में चारों खामों के प्रतिनिधि शामिल हुए। बगवाल से पहले योद्धाओं ने मंदिर की परिक्रमा की।
जय मां वाराही’ वीडियो को लाँंच कियाः
चंपावत। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि देवीधुरा को मानसखंड मंदिरमाला से जोड़ा गया है। मानसखण्ड कॉरीडोर के अंतर्गत वाराही मंदिर के छूटे अवस्थापना कार्यों को शामिल किया जाएगा। मानसखंड यात्रा के तहत विशेष ट्रेन भी चलवाई जा रही हैं। चंपावत को आदर्श जिला बनाने के साथ ही उत्तराखंड को सर्वश्रेष्ठ राज्य बनाने पर सरकार निरंतर काम कर रही है। क्षेत्र के विकास के लिए सभी कदम उठाए जाएंगे। मुख्यमंत्री ने रीठा में रतिया नदी में बाढ़ सुरक्षा का निर्माण कार्य एवं वैकल्पिक एप्रोच रोड का निर्माण कार्य किया जायेगा एवं मुख्यमंत्री ने विभिन्न विभागों के स्टॉलों का अवलोकन भी किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने लोक कलाकार गिरीश बरगली द्वारा तैयार ‘जय मां वाराही’ वीडियो को लाँंच किया।
ये लोग मौजूद रहेः भीमताल के विधायक राम सिंह कैड़ा, पूर्व सांसद महेंद्र पाल, जिला पंचायत अध्यक्ष ज्योति राय, ब्लाँक प्रमुख सुमनलता, भाजपा जिलाध्यक्ष निर्मल माहरा, नैनीताल के जिलाध्यक्ष प्रताप सिंह बिष्ट, मंदिर कमेटी के मुख्य संरक्षक लक्ष्मण सिंह लमगडिय़ा, अध्यक्ष मोहन सिंह बिष्ट, सी हाँक के चेयरमैन नरेंद्र सिंह लडवाल, उत्तराखंड राज्य नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजशेखर जोशी, राजू बिष्ट, चेतन भैय्या, डीएम नवनीत पांडे, एसपी अजय गणपति, सीडीओ संजय कुमार सिंह, एसडीएम रिंकू बिष्ट, सीओ वंदना वर्मा सहित तमाम लोग मौजूद थे।

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